Tuesday, June 17, 2025

प्राण प्रवाह

हे नित–निर्झर के नीत प्रवाह
अविरल धारा के अविचल कूल,
प्राण वायु के ऊर्ध्व–अधो मध्य
शाश्वत गत हो, आपके चरणों की धूल
- अधोगामी